कई बार हम अपने शरीर में हो रही परेशानियों जैसे दर्द या किसी प्रकार का बदलाब होने के कारण टेंशन में आ जाते हैं और बार-बार हर दर्द के लिए या अन्य किसी परिवर्तन को कम करने के मेडिसिन का उपयोग करने लगते हैं। लेकिन मेडिसिन का अधिकतम उपयोग बहुत नुकसानदायक होता है। माइंड एंड बॉडी मेडिसिन के लिए कई प्रकार की मेडिसिन आती है वेट लूज़, वेट गेन, ब्यूटी, भूख लगने के लिए मेडिसिन, दर्द के लिए दवाएं इत्यादि। और ये सभी हमारे शरीर पर बुरा प्रभाव डालते हैं। माइंड एंड बॉडी नुट्रिशन की आवश्यकता व्यक्ति को जरुर होती है क्योंकि इससे शरीर को चलाने में सहायता मिलती है। लेकिन इसका मतलब ये बिलकुल नहीं है कि इसके लिए मेडिसिन या दवाओं का सहारा लिया जाये।
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अगर योग और मैडिटेशन को माइंड एंड बॉडी मेडिसिन की तरह प्रयोग किया जाये तो ये शरीर पर उत्तम प्रभाव डालेगा और माइंड एंड बॉडी नुट्रिशन भी सही रूप में ले पाएंगे। माइंड एंड बॉडी नुट्रिशन के लिए खाने –पीने का ध्यान रखना बहुत आवश्यक है। इसके लिए माइंड एंड बॉडी मेडिसिन की जगह पोष्टिक आहार लेना चाहिए जैसे उबले हुए चने, दूध, दही, मट्ठा, अंडे, हरी सब्जियां, मछली इत्यादि। इन सभी चीज़ों से शरीर में पोष्टिकता आती है और शरीर तंदरुस्त होता है एवं शरीर और दिमाग दोनों स्वस्थ रहते हैं।
कई बार हम इस आधुनिक समय में आ रही मेडिसिन का उपयोग अपने माइंड और बॉडी के लिए करने लगते हैं और कुछ समय बाद उसके दुष्परिणाम सामने आने लगते हैं। क्योंकि मेडिसिन में कई तरह के सप्लीमेंट्स प्रयोग किये जाते हैं जो कभी –कभी माइंड और बॉडी के लिए अच्छे नहीं होते और उसके विपरीत परिणाम सामने आने लगते हैं।
इसलिए अपने शरीर को योग और मैडिटेशन से फिट रखें और माइंड एंड बॉडी मेडिसिन का प्रयोग कम से कम करें। माइंड एंड बॉडी नुट्रिशन के लिए फल और सब्जियां इन चीज़ों को प्रयोग करें। इनके शरीर पर कोई विपरीत परिणाम नहीं होंगे बल्कि शरीर को पोष्टिकता मिलेगी और दिमाग भी शांत रहेगा। और अगर आप माइंड एंड बॉडी मेडिसिन का प्रयोग करना चाहते हैं तो इसके लिए पहले किसी डॉक्टर से परामर्श लें इसके बाद ही इनका प्रयोग करें। डॉक्टर की सलाह के बिना इन सब मेडिसिन को न लें।
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